"श्रीराम के हाथों मृत्यु पाकर रावण ने मोक्ष प्राप्त किया'

पानीपत | देवी मंदिर में पिछले 9 दिनों से चल रही श्रीराम कथा का मंगलवार को समापन हुआ। श्री राम के भजन सजा दो घर मनाओ उत्सव, खूब उतारो आरती अवध में राम आए है। राम भक्त ले चला राम की निशानी आदि भजनों की धुन और जय श्रीराम के जयकारों के साथ पूरा कथा पंडाल उस समय धर्म मय हो गया। आचार्य लालमणि पांडेय ने बताया कि छोटे से छोटे व्यक्ति से भी मिले तो प्रेम से मिले, जिस प्रकार भगवान श्री राम ने निशाद को गले लगाया था। भाई हो तो भरत जैसा जिसने सब कुछ त्याग अपने भाई के लिए। सब कुछ ज्ञात होने के बाद भी श्री राम के हाथों मृत्यु पाकर रावण ने मोक्ष प्राप्त किया। रावण वध के उपरांत श्री राम लंका का राजपाट विभीषण को सौंप कर पुष्पक विमान से अयोध्या वापस लौटते है। उनके अभिन्न मित्र हनुमान उनके साथ आते हैं। जोरदार जयकारों के साथ अयोध्या में श्री राम का राज्याभिषेक किया गया। कथा में संगीतमय राम भजनों का गायन भी उन्होंने किया। कथा सुनने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु मंदिर में पहुंचे।

"श्रीराम के हाथों मृत्यु पाकर रावण ने मोक्ष प्राप्त किया'
पानीपत | देवी मंदिर में पिछले 9 दिनों से चल रही श्रीराम कथा का मंगलवार को समापन हुआ। श्री राम के भजन सजा दो घर मनाओ उत्सव, खूब उतारो आरती अवध में राम आए है। राम भक्त ले चला राम की निशानी आदि भजनों की धुन और जय श्रीराम के जयकारों के साथ पूरा कथा पंडाल उस समय धर्म मय हो गया। आचार्य लालमणि पांडेय ने बताया कि छोटे से छोटे व्यक्ति से भी मिले तो प्रेम से मिले, जिस प्रकार भगवान श्री राम ने निशाद को गले लगाया था। भाई हो तो भरत जैसा जिसने सब कुछ त्याग अपने भाई के लिए। सब कुछ ज्ञात होने के बाद भी श्री राम के हाथों मृत्यु पाकर रावण ने मोक्ष प्राप्त किया। रावण वध के उपरांत श्री राम लंका का राजपाट विभीषण को सौंप कर पुष्पक विमान से अयोध्या वापस लौटते है। उनके अभिन्न मित्र हनुमान उनके साथ आते हैं। जोरदार जयकारों के साथ अयोध्या में श्री राम का राज्याभिषेक किया गया। कथा में संगीतमय राम भजनों का गायन भी उन्होंने किया। कथा सुनने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु मंदिर में पहुंचे।